Friday, July 9, 2021

उसे सुबह मिलने का जोश...

उसे सुबह मिलने का जोश... 
और शाम होने का अफ़सोस.. 
इसी दायरे में क़ैद हो गयी है ज़िन्दगी मेरी 
🚶🚶🚶🚶

No comments:

Post a Comment